नई दिल्ली। कोविड-19 महामारी के साये में अगले महीने पांच राज्यों में होने जा रहे विधानसभा चुनाव के लिए राजनीतिक दलों ने रोचक हैशटैग, जोशीली धुन और त्वरित प्रतिक्रिया के साथ डिजिटल दुनिया में अपना प्रचार अभियान शुरू कर दिया है। विभिन्न पार्टियों में नारों को गढ़ने वाले और कलाकर लगातार काम कर रहे हैं ताकि पैने अंदाज में मतदाताओं को फेसबुक और यूट्यूब पर संदेश अथवा विरोधी दल को जवाब दिया जा सके।
भारतीय जनता पार्टी ने यूपी के लिए प्रचार गीत जारी किया है जो लोकप्रिय श्रीलंकाई गाना ‘मणिके मागे हिथे’ पर आधारित है जिसे योहानी डी सिल्वा ने गाया है। भाजपा के प्रचार गाने के बोल हैं, सबकी मन की यह भाषा, यहां दो-दो हैं आशा, यही मोदी, यही योगी, उपयोगी, सहयोगी। साथ ही गाने में राज्य की योगी आदित्यनाथ सरकार के कार्यों, ‘दंगा मुक्त’पांच साल, बिजली आपूर्ति में सुधार और अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण को रेखांकित किया गया है। इस गाने को भाजपा और उसके नेताओं ने पिछले सप्ताह अपने-अपने सोशल मीडिया अकाउंट से साझा किया।
आएगी फिर से बीजेपी शीर्षक से भी गाना जारी किया गया है जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री की तस्वीरों का इस्तेमाल किया गया है। समाजवादी पार्टी के पास अपने प्रचार के लिए अलग गाने हैं जिनमें से एक अवधी बोली में गाना है, खदेड़ा होइबे (बाहर निकाल देंगे) जो राज्य की सत्ता से भाजपा को बाहर करने की बात करता है। गोवा में तृणमूल कांग्रेस ने अपने प्रचार के लिए कोंकणी भाषा में गाना जारी किया है जिसके बोल हैं, एइलो दो फुलांछो काल, गोयेछी नवी सकल (दो फूल का युग यहां गोवा की नयी सुबह) और इसके जरिये वह मतदाताओं को जोड़ने का प्रयास कर रही है। गाने में दो फूल का संदर्भ तृणमूल कांग्रेस के चुनाव चिह्न से है।