मेरठ पुलिस ने शनिवार तड़के मुठभेड़ में 50,000 रुपये के इनामी बदमाश जमील हुसैन उर्फ नईम को मार गिराया। पुलिस ने यह जानकारी दी। उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक प्रशांत कुमार द्वारा जारी बयान के मुताबिक नौ जनवरी, 2025 को लिसाड़ी गेट स्थित अपने घर पर अपने सौतेले भाई मोइन, उसकी पत्नी और उसके तीन बच्चों की नृशंस हत्या में जमील हुसैन उर्फ नईम मुख्य संदिग्ध था। पुलिस के मुताबिक इन पांचों के सिर पर चोट के निशान थे। इन हत्याओं के बाद पुलिस ने जमील हुसैन उर्फ नईम और उसके साथी सलमान पर इनाम घोषित किया था।
पुलिस महानिदेशक ने एक बयान में कहा, ”जांच में पता चला है कि नईम गिरफ्तारी से बचने के लिए अपना नाम और स्थान बदल रहा था। इस जघन्य अपराध के पीछे पैसे और संपत्ति को लेकर विवाद था। नईम का दिल्ली और ठाणे में आपराधिक गतिविधियों का इतिहास रहा है।” बयान के अनुसार पुलिस टीम जमील हुसैन उर्फ नईम और सलमान को गिरफ्तार करने की कोशिश कर रही थीं। बयान में कहा गया है, ”शनिवार सुबह पुलिस की एक टीम ने नईम को पकड़ने गयी थी और मुठभेड़ शुरू हो गई। नईम को गोली लगी और उसे पास के अस्पताल में घायलवस्था में ले जाया गया जहां डाक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक विपिन ताड़ा ने बताया कि लिसाड़ी गेट में पति-पत्नी और उनके तीन बच्चों की हत्या कर कर दी गई थी जिसके सिलसिले में नईम की तलाश थी। ताड़ा के अनुसार नईम पर 50 हजार रुपये का इनाम भी घोषित था और काफी समय से पुलिस को उसकी तलाश भी थी। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने बताया कि नईम अन्य प्रदेशों में भी हत्या के मुकदमों में वांछित था। जब उनसे पूछा गया कि कितने ऐसे राज्य और जिले थे जहां पर नईम वांछित बताया गया है और इसके कितने मामले अभी तक सामने आये हैं तब वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने कहा कि दिल्ली और महाराष्ट्र के मुंब्रा थाने में हत्या के मामलों में नईम वांछित था। उन्होंने बताया कि यह भी पता चला है कि नईम अपनी पहचान बदल कर रह रहा था तथा यहां पर भी इसने अपने सौतले भाई के पूरे परिवार की हत्या कर दी थी। ताड़ा के अनुसार इस वारदात के बाद वह निरन्तर फरार था। इसका एक अन्य साथी भी है और वह भी वांछित है। उन्होंने कहा कि पुलिस की टीम लगी हैं और जल्द ही उसे भी गिरफ्तार कर लिया जाएगा।