नई दिल्ली। केंद्रीय मंत्री अमित शाह और राजनाथ सिंह सहित भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेताओं ने लोकसभा चुनाव में पार्टी के प्रदर्शन और चार जून को होने वाली मतगणना की तैयारियों पर चर्चा करने के लिए सोमवार को एक बैठक की। भाजपा अध्यक्ष जे पी नड्डा की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में एग्जिट पोल में भाजपा नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की बड़ी जीत की भविष्यवाणी और विपक्षी ‘इंडिया’ गठबंधन की ओर से कई बैठकों के बाद इस पूर्वानुमान को खारिज करने के बाद मौजूदा राजनीतिक स्थिति का जायजा लिया गया। भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव विनोद तावड़े ने बैठक के बाद यहां संवाददाताओं से कहा, ”सात चरणों में संपन्न चुनावों पर चर्चा और समीक्षा करने के लिए एक बैठक आयोजित की गई थी और कल होने वाली मतगणना पर भी चर्चा की गई। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे पी नड्डा ने बैठक की अध्यक्षता की।” उन्होंने कहा कि बैठक में मतदान के सभी सात चरणों के दौरान देखे गए मतदान के पैटर्न पर चर्चा की गई।
उन्होंने कहा, इसकी भी समीक्षा की गई।” तावड़े ने कहा कि बैठक में भाजपा के राष्ट्रीय महासचिवों और सचिवों ने हिस्सा लिया और लोकसभा चुनाव के सभी सात चरणों के मतदान पर गहन चर्चा हुई और मतगणना के लिए देशभर में पार्टी के पोलिंग एजेंटों की तैनाती पर विचार-विमर्श किया गया। उन्होंने कहा, ”पोलिंग एजेंट सभी बूथों पर समय पर पहुंचें, उनकी उचित तैनाती हो, इसमें कोई समस्या तो नहीं है – इन सभी चीजों पर चर्चा की गई।” उन्होंने कहा कि बैठक में इस बात पर भी चर्चा हुई कि मतगणना को लेकर कहीं कोई संदेह तो नहीं है और यदि ऐसा कुछ होता है तो पार्टी पदाधिकारियों से ऐसी स्थिति पर विशेष ध्यान देने को कहा गया। यह पूछे जाने पर कि क्या बैठक में भाजपा की जीत का जश्न मनाने की योजना पर भी चर्चा हुई क्योंकि अधिकतर एग्जिट पोल में उसे लगातार तीसरी बार भारी जनादेश मिलने की संभावना दिखाई जा रही है, तावड़े ने कहा, ”फिलहाल इस पर ऐसी कोई चर्चा नहीं हुई है। हम रुझानों को देखने के बाद ही इस पर गौर करते हैं, न कि एग्जिट पोल के अनुमानों के आधार पर।” भाजपा नेता ने बैठक में सरकार गठन को लेकर चर्चा होने के बारे में पूछे गए एक सवाल के जवाब में कहा कि बैठक में इस पर कोई चर्चा नहीं हुई। उन्होंने कहा, ”बैठक में केवल चुनाव और मतदान की समीक्षा की गई और मतगणना के लिए इंतजाम (पार्टी कार्यकर्ताओं की तैनाती) पर चर्चा हुई।
समझा जाता है कि बैठक में भाजपा के वरिष्ठ नेताओं ने नतीजों के बाद विपक्ष से मुकाबले की पार्टी की रणनीति पर भी विचार-विमर्श किया लेकिन इस संबंध में पार्टी की ओर से कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है। भाजपा के एक प्रतिनिधिमंडल ने रविवार को निर्वाचन आयोग का रुख किया था और कांग्रेस एवं उसके सहयोगियों पर भारत की चुनावी प्रक्रिया की अखंडता को कमजोर करने की कोशिश करने का आरोप लगाया था। उसने आयोग से चार जून को लोकसभा चुनाव की मतगणना के दौरान ‘हिंसा और अशांति’ के किसी भी प्रयास को रोकने का भी अनुरोध किया था। ‘इंडिया’ गठबंधन के नेताओं ने निर्वाचन आयोग से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया है कि ईवीएम के परिणाम घोषित होने से पहले डाक मतपत्रों की गिनती की जाए और उनके परिणाम घोषित किए जाएं। विपक्षी गठबंधन ने जोर देकर कहा कि निर्वाचन आयोग को मतगणना प्रक्रिया पर स्पष्ट दिशानिर्देश जारी करना चाहिए और यह सुनिश्चित करना चाहिए कि उनका कार्यान्वयन हो।