उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वन्यजीवों के चिकित्सकों के लिए अलग कैडर बनाने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में बृहस्पतिवार को उत्तर प्रदेश राज्य वन्य जीव बोर्ड की 16वीं बैठक संपन्न हुई। बैठक में मुख्यमंत्री ने प्रदेश की जैव विविधता को संरक्षित करने और ‘इको पर्यटन’ की संभावनाओं को विस्तार देने सहित अनेक महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की और आवश्यक दिशा निर्देश दिए। उन्होंने कहा, वन्य जीवों की चिकित्सा-सेवा में लगे पशु चिकित्सकों का कैडर बनाया जाए। इन चिकित्सकों का कार्य बड़ा महत्वपूर्ण है। कैडर होने से उन्हें समयबद्ध प्रोन्नति व अन्य लाभ आसानी से मिल सकेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा, पशु-पक्षियों का संरक्षण-संवर्धन हमारी संस्कृति का अंग है। प्रदेश में हर साल एक तय समय पर बड़ी संख्या में साइबेरियन पक्षियों का आगमन होता है। इनकी सुरक्षा सबकी साझी जिम्मेदारी है। आदित्यनाथ ने कहा, “इन पक्षियों अथवा अन्य पशु-पक्षियों के साथ क्रूरता/अमानवीयता स्वीकार्य नहीं है। ऐसी हर एक घटना के दोषियों के विरुद्ध कठोरतम कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा, महराजगंज में स्थित सोहगीबरवा वन्यजीव प्रभाग इतिहास के अनेक रहस्यों को संजोए हुए है। इस क्षेत्र के अन्तर्गत ग्राम-धरमौली में सोनारी वन भूमि पर पुरातात्विक उत्खनन कार्य कराया जाना चाहिए। एएसआई (भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण) भी इसके लिए इच्छुक है। ऐसे में नियमानुसार राष्ट्रीय वन्य जीव बोर्ड की स्थायी समिति से अनापत्ति प्राप्त कर आवश्यक कार्यवाही की जाए।