भाजपा सरकार के टॉप 10 करोड़पति मंत्रियों की सूची में दो नये मंत्री भी शामिल हो गए हैं। नए बने मंत्रियों में सबसे ज्यादा संपत्ति शिकारपुर से विधायक अनिल शर्मा के पास है। इनके पास 14 करोड़ रुपये से ज्यादा की संपत्ति है।
लखनऊ।, भाजपा सरकार के टॉप 10 करोड़पति मंत्रियों की सूची में दो नये मंत्री भी शामिल हो गए हैं। नए बने मंत्रियों में सबसे ज्यादा संपत्ति शिकारपुर से विधायक अनिल शर्मा के पास है। इनके पास 14 करोड़ रुपये से ज्यादा की संपत्ति है। वही सबसे कम संपत्ति वाले मंत्री बलिया नगर से विधायक आनंद स्वरूप शुक्ला हैं, जिनके पास 31 लाख रुपये की संपत्ति हैं। नए 18 मंत्रियों में 15 मंत्री करोड़पति हैं। वर्ष 2017 में जिस मंत्रिमंडल ने शपथ ली थी उनमें से 80 फीसदी मंत्री करोड़पति थे।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नए मंत्रिमंडल को देखा जाए तो टॉप टेन करोड़पतियों में दो नए मंत्री भी शामिल हो जाएंगे। इनमें 14 करोड़ की संपत्ति के साथ अनिल शर्मा और 6 करोड़ की सम्पत्ति वाले वाराणसी से विधायक रवीन्द्र जायसवाल शामिल हैं। वहीं सबसे कम सम्पत्ति वाले मंत्रियों में भी नये मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ला हैं। 2017 में मुख्यमंत्री के साथ 44 मंत्रियों ने शपथ ली थी जिसमें से 35 मंत्री करोड़पति थे। उस समय राज्य सरकार के मंत्रियों की औसत आय 5.34 करोड़ थी। टॉप टेन करोड़पतियों में कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी हैं, जिनके पास 57 करोड़ की सम्पत्ति है।
ये हैं कम सम्पत्ति वाले 5 मंत्री
मंत्रियों में सबसे कम सम्पत्ति 13 लाख रुपये जौनपुर से जीते गिरीश चन्द्र यादव के पास है। नये बने मंत्रियों में आनंद स्वरूप शुक्ला 31 लाख रुपये के साथ दूसरे नंबर पर हैं। इसके अलावा तीसरे नंबर पर वाराणसी के शिवपुर से जीते अनिल के पास 35 लाख रुपये, वाराणसी दक्षिण से जीते डा. नीलकंठ तिवारी के पास 38 लाख रुपये की संपत्ति है। थाना भवन से जीते सुरेश राणा ने 40 लाख रुपये की संपत्ति घोषित की है।
पुरानों को हटाकर दिया नए मंत्रियों को संदेश
विवादित मंत्रियों को हटाकर साफ संदेश दिया गया है कि भ्रष्टाचार या काम में लापरवाही सरकार को कतई बर्दाश्त नहीं है। सरकार में बने रहने के लिए छवि साफ रखने के साथ ही जनता का सेवक बनकर रहना होगा। मंत्रिमंडल विस्तार के सहारे यह पूरी तरह साफ कर दिया गया है कि पारदर्शिता के साथ कामकाज सरकार का मुख्य ध्येय है। मंत्रियों को इसी मूलमंत्र पर चलकर जनता की कसौटी पर खरा उतरना ही पार्टी के लिए सर्वोपरि है।